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खगड़िया जिले में कोविड-19 गाइडलाइन का पालन करते हुए गोदभराई उत्सव आयोजित

  • जिले के सभी प्रखंडों में आयोजन , कोविड-19 से बचाव को लेकर भी किया गया जागरूक
  • सुरक्षित और सामान्य प्रसव को बढ़ावा देने को गर्भवती एवं स्वस्थ शरीर निर्माण को धातृ महिला को दी गई उचित पोषण की जानकारी

खगड़िया, 07 जुलाई

जिले में पूर्व से निर्धारित तिथि के अनुसार सभी प्रखंडों में कोविड-19 के गाइडलाइन का पालन के साथ बुधवार को गोदभराई उत्सव कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस दौरान ऑगनबाड़ी सेविका अपने पोषक क्षेत्र में गृह भ्रमण के तहत लाभार्थियों के घर जाकर गोदभराई उत्सव के अवसर होने वाली रस्म को पूरी की। साथ ही लाभार्थियों को पोषण से संबंधित विस्तारपूर्वक जानकारी दी गई। मंगल गीतों से कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया और गर्भवती महिला को उपहार स्वरूप पोषण की पोटली दी गई है। जिसमें गुड़, चना, हरी पत्तेदार सब्जियां, आयरन की गोली, पोषाहार व फल आदि शामिल थे। महिलाओं को उपहार स्वरूप पोषण की थाली भी भेंट की गयी। जिसमें सतरंगी व अनेक प्रकार के पौष्टिक भोज्य पदार्थ शामिल थे। गर्भवती महिलाओं को चुनरी ओढ़ाकर और टीका लगाकर गोदभराई रस्म पूरी की गई। वहीं, सभी महिलाओं को अच्छी सेहत के लिए पोषण की आवश्यकता व महत्व के बारे में जानकारी दी गई।

  • सुरक्षित और सामान्य प्रसव के लिए उचित पोषण बेहद जरूरी :
    आईसीडीएस की जिला कार्यक्रम पदाधिकारी नीना सिंह ने कहा, गोदभराई रस्म में सेविकाओं द्वारा गर्भवती महिलाओं के सम्मान में उसे चुनरी ओढ़ाकर और तिलक लगा कर उनके गर्भस्थ शिशु की बेहतर स्वास्थ्य की कामना की गई। साथ ही गर्भवतियों की गोद में पोषण संबंधी पौष्टिक आहार फल सेब , संतरा, बेदाना, दूध, अंडा, दाल सेवन करने का तरीका बताया गया। साथ ही गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को आयरन की गोली खाने की सलाह दी गई। जिसमें बताया गया कि गर्भवती महिला कुछ सावधानी और समय से पौष्टिक आहार का सेवन करें तो बिना किसी अड़चन के स्वस्थ बच्चे को जन्म दे सकती हैं। वहीं, उन्होंने बताया, सुरक्षित और सामान्य प्रसव के लिए उचित पोषण बेहद जरूरी है।
  • कोविड-19 के गाइडलाइन का पालन करते हुए मनायी गयी गोदभराई की रस्म :
    एनएनएम के जिला समन्वयक अंबुज कुमार ने बताया, कोविड-19 गाइडलाइन का पालन करते हुए जिले के सभी प्रखंडों में गोदभराई उत्सव मनाया गया। इस दौरान शारीरिक दूरी, सैनिटाइजेशन समेत सुरक्षा के मद्देनजर अन्य बातों का विशेष ख्याल रखा गया। ताकि संक्रमण उत्पन्न नहीं हो सकें और सुरक्षित रहकर उक्त कार्यक्रम का समापन हो सके । वहीं, बताया, शिशु के जन्म के एक घंटे के भीतर मां का गाढ़ा-पीला दूध बच्चे की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। अगले छह माह तक केवल माँ का दूध बच्चे को कई गंभीर रोगों से सुरक्षित रखता है। 6 माह के बाद बच्चे का शारीरिक एवं मानसिक विकास काफी तेजी से होता है। इस दौरान स्तनपान के साथ ऊपरी आहार की काफी जरूरत होती है। घर का बना मसला व गाढ़ा भोजन ऊपरी आहार की शुरुआत के लिए जरूरी होता है। वहीं, कहा, सामान्य प्रसव के लिए गर्भधारण होने के साथ ही महिलाओं को चिकित्सकों से जाँच करानी चाहिए और चिकित्सा परामर्श का पालन करना चाहिए।
  • एनीमिया प्रबंधन की दी गई जानकारी:-
    इस दौरान बताया गया कि गर्भवती माता, किशोरियां व बच्चों में एनीमिया की रोकथाम जरूरी है। गर्भवती महिला को 180 दिन तक आयरन की एक लाल गोली जरूर खानी चाहिए। 10 वर्ष से 19 साल की किशोरियों को भी प्रति सप्ताह आयरन की एक नीली गोली का सेवन करनी चाहिए। छह माह से पांच साल तक के बच्चों को सप्ताह में दो बार एक-एक मिलीलीटर आयरन सिरप देनी चाहिए।
  • कोविड-19 से बचाव को लेकर भी किया गया जागरूक :
    वहीं, इस दौरान लाभार्थियों के साथ-साथ उनके परिजनों एवं आसपास के लोगों को भी कोविड-19 से बचाव को लेकर जागरूक भी किया गया। जिसके दौरान मास्क का उपयोग, शारीरिक दूरी का पालन, साफ-सफाई का ख्याल, लक्षण महसूस होने पर कोविड-19 जाँच कराने, बारी आने पर निश्चित रूप से वैक्सीनेशन कराने समेत अन्य जानकारियाँ दी गई।
  • इन मानकों का रखें ख्याल, कोविड-19 संक्रमण से रहें दूर :-
  • मास्क का उपयोग और शारीरिक दूरी का पालन जारी रखें।
  • बारी आने पर निश्चित रूप से वैक्सीनेशन कराएं और दूसरों को भी प्रेरित करें।
  • लक्षण महसूस होने पर कोविड-19 जाँच कराएं।
  • भीड़-भाड़ वाले जगहों से परहेज करें।
  • अनावश्यक यात्रा से परहेज करें।
  • साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखें और सैनिटाइजर का उपयोग करें।
  • आवश्यकतानुसार लगातार साबुन या अल्कोहल युक्त पदार्थों से हाथ धोएं।

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